मुंबई पुलिस ने टीआरपी (TRP) रैकेट का भंडफोड़ करते हुए तीन चैनलों के नाम उजागर किए हैं। इसमें सबसे बड़ा नाम रिपब्लिक टीवी का है।ऐसे में रिपब्लिक टीवी के संपादक अर्णब गोस्वामी भी कार्रवाई के दायरे में आ गए हैं।
पुलिस कमिश्नर का अर्णब गोस्वामी के बारे में जवाब
मुंबई पुलिस कमिश्नर से जब मीडिया संवाददाता ने पूछा कि,‘क्या रिपब्लिक टीवी के संपादक अर्णब गोस्वामी की गिरफ्तारी होगी?’तो उन्होंने साफ शब्दों में अपना जवाब दिया।
उन्होंने कहा, ‘कोई भी कर्मचारी हो, किसी भी पद पर हो, पूछताछ के लिए बुलाया जाएगा. फिर आगे की कार्रवाई की जाएगी। दो छोटे चैनलों के मालिकों को अरेस्ट किया गया है। कोई व्यक्ति कितना भी ऊंचा हो उसे पूछताछ के लिए बुलाया जाएगा और फिर आगे की कार्रवाई की जाएगी।’ वहीं एक अन्य सवाल के जवाब में कमिश्नर ने कहा कि चैनल की टीआरपी किसी के घटना के कारण नहीं बढ़ी है। बल्कि इसे हेराफेरी करके बढ़ाया गया है। अगर इन तीन चैनल के अलावा भी कोई शक के दायरे में आता है तो जांच की जाएगी। सूचना और प्रसारण मंत्रालय से समस्त विवरण शेयर किया जा रहा है। और आगे की कार्रवाई के लिए आग्रहकिया जा रहा है।
तीन टीवी चैनल्स के नाम
गौरतलब है कि मुंबई पुलिस ने रिपब्लिक भारत, बॉक्स सिनेमा और वक्त मराठी का नाम उजागर किया है। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि ये टीवी चैनल पैसा देकर टीआरपी को मैन्युपुलेट करने का काम कर रहे थे। टीआरपी को कैलकुलेट करने वाली एजेंसी BARC से जुड़ी ‘हंसा’ नाम की एजेंसी है। मुंबई पुलिस ने शिकंजा कसते हुए इस राज का पर्दाफाश किया है।
इस तरफ किया जाता था TRP को मैनिपुलेट
अधिकारियों ने बताया कि देशभर में 3000 से ज्यादा पैरामीटर्स, मुंबई में तकरीबन 2000 पैरामीटर्स के मेंटेनेंस का जिम्मा BARC से जुड़ी एजेंसी हंसा को दिया गया था ।जो टीआरपी के साथ छेड़छाड़ कर रही थी। जिन घरों में ये कॉन्फिडेंशियल पैरामीटर्स लगाए गए थे ।उस डेटा को किसी चैनल के साथ शेयर कर उनके साथ टीआरपी को छेड़छाड़ किया गया। इन घरों में एक खास चैनल को ही लगाकर रखने के लिए कहा गया था ।जिसके बदले में उन्हें पैसे दिए जाते थे। इस मामले में पुलिस ने दो लोगों को गिरफ्तार किया और अदालत में पेश किया गया।वहीं रिपब्लिक चैनल के डायरेक्टर के खिलाफ कार्रवाई और चैनल के खातों की जांच करने का इशारा भी मुंबई पुलिस ने दिया है।
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